Apr 3, 2024, 09:13 AM IST

बर्फ पिघलने से बढ़ी धरती की रफ्तार, खतरनाक...

Aditya Prakash

अंटार्कटिका और ग्रीनलैंड में मौजूद बर्फ तेजी से पिघल रही है. इनका पिघलना पृथ्वी के तापमान में बढ़ोतरी की सबसे बड़ी वजह है.

पोलर इलाकों में बर्फ की कमी से भूमध्य रेखा पर वजन ज्यादा हो जाएगा, और इससे धरती के घूमने की गति प्रभावित होगी.

नए रिसर्च से पता चला है कि इससे 'वर्ल्ड टाइम जोन' भी प्रभावित हो रहा है, इससे लीप सेकंड मेंटेन करना बहुत जरूरी हो गया है. 

रिसर्च के मुताबिक 2029 में निगेटिव लीप सेकंड आ सकता है. इसकी वजह से स्मार्टफोन और कंप्यूटर काम करना बंद कर सकते हैं.

बर्फ पिघलने से खतरनाक स्थितियां पैदा हो रही हैं. समुद्र के अंदर पानी का बहाव हल्का हो रहा है. ऐसे में दुनियाभर में पानी के स्रोतों में ऑक्सीजन की कमी होने लगेगी. 

बर्फ पिघलने से खतरनाक स्थितियां पैदा हो रही हैं. समुद्र के अंदर पानी का बहाव हल्का हो रहा है. ऐसे में दुनियाभर में पानी के स्रोतों में ऑक्सीजन की कमी होने लगेगी. 

ग्लोबल वार्मिंग से पैदा होने वाली स्थिति बेहद ही भयावह है. इसपर आने वाली रिपोर्टेस दुनिया के लिए एक अलर्ट है.